सिविल सचिवालय कर्मचारियों ने खाली बर्तन खटका मनप्रीत बादल से मांगी भीख

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दर्जनों कर्मचारी हुए मनप्रीत बादल के कार्यालय के बाहर हुए एकत्रित

  • मनप्रीत बादल कार्यालय आए नहीं, स्टाफ ने बाहर आने से किया इन्कार

चंडीगढ़ (अश्वनी चावला)। पंजाब सरकार का काम चलाने वाले सिविल सचिवालय के कर्मचारियों ने इतिहास में पहली बार खजाना मंत्री के कार्यालय के बाहर न सिर्फ प्रदर्शन किया, बल्कि बर्तन खटखटाते हुए भिक्षा तक मांगी। भिक्षा मांगने वालों में महिलाएं भी शामिल थी। जिस समय सरकारी कर्मचारी अपनी, मांगें मनवाने के लिए खाली बर्तन उठाए भिक्षा मांग रहे थे तो उस समय खजाना मंत्री मनप्रीत बादल अपने कार्यालय में नहीं थे, जबकि खजाना मंत्री के प्राईवेट स्टाफ ने बाहर आने से साफ इन्कार कर दिया है।

डीए व 6वें पे कमीशन नहीं मिलने के कारण किया प्रदर्शन

जिस कारण कर्मचारियों को काफी देर प्रदर्शन करने के बाद अपना ज्ञापन मनप्रीत बादल के कार्यालय के पास ही रख कर वापिस अपने काम पर लौट गए। पंजाब सचिवालय स्टाफ एसोसिएशन के अध्यक्ष सुखचैन सिंह खैहरा ने कहा कि इतिहास में पहले कभी नहीं हुआ है, जब सरकार के कर्मचारियों को कई कई माह नहीं बल्कि कई कई साल तक डीए का इंतजार करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार उनके बकाए व डीए देने की जगह पर उनपर 200 रुपए का जजिया कर लगाने साथ ही डोप टैस्ट थोपने को प्राथमिकता दे रही है, जिसे किसी भी हालत में बर्दाश्त नहीं किया जाऐगा।

इस मौके सिवल सचिवालय आफिसर्ज एसोसिएशन के अध्यक्ष एनपी सिंह, पंजाब स्टेट मनिस्ट्रीयल सर्विसेस यूनियन के उप अध्यक्ष दलजीत सिंह, पंजाब सिवल सचिवालय दर्जा 4 के अध्यक्ष बलराज सिंह, सचिव स्टाफ एसो. के जनरल सचिव गुरप्रीत सिंह, सीनियर उप अध्यक्ष भगवंत सिंह, सुशील कुमार, सुखजीत कौर, जगदीप, सन्दीप कौर और सोनी सहित बड़ी संख्या में कर्मचारी उपस्थित थे।

200 रुपये जजिया कर टैक्स को नहीं भरने का किया ऐलान

कर्मचारियों ने कहा कि सरकार पिछला डीए का बकाया के साथ ही 6वें वित्त कमीशन संबंधी कोई भी जानकारी कर्मचारियों को नहीं दे रहे है, जिस कारण कर्मचारियों में काफी ज्यादा रोष पैदा हो रहा है। उन्होंने कहा कि सरकारी कर्मचारियों पर पहले ही कई तरह के टैक्स होने के बावजूद पंजाब सरकार ने नया 200 रुपए का अतिरिक्त भार लगा दिया है। उन्होंने कहा कि अभी 200 रुपये के जजिया कर संबंधी कोई फैसला नहीं हुआ था कि सरकार ने डोप टैस्ट करवाने जैसा निर्णय उन पर थोप दिया है। उन्होंने कहा कि इस तरह के किसी भी निर्णय के साथ कर्मचारी सहमत नहीं हैं। इस लिए वह न ही 200 रुपए जजिया कर देंगे व न ही कोई कर्मचारी अपना डोप टैस्ट करवाएगा।

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