सर्दी से ठिठुरते राहगिरों की मदद करता है नुहियांवाली का ‘सोहन लाल’

shivering from winter sachkahoon

3 पीढ़ियों से कर रहे हैं मानवता भलाई का काम

सच कहूँ/राजू, ओढां। अगर सर्दी में ठिठुरते किसी व्यक्ति को अलाव मिल जाए तो उसके दिल से आशीष जरूर निकलती है। लोगों की ऐसी ही आशीष प्राप्त कर रहा है गांव नुहियांवाली निवासी सोहन लाल कटारिया। उक्त शख्स पिछले करीब 23 वर्षों से सर्दी में ठिठुरते लोगों को अलाव जलाकर उन्हें सर्दी से राहत प्रदान कर रहा है। इस कार्य की ग्रामीण व वहां से गुजरने वाले राहगिर प्रशंसा जरूर करते हैं। इस बारे सोहन लाल से बात की गई तो उसने बताया कि उसकी उम्र करीब 55 वर्ष है। उसका घर मुख्य रोड पर स्थित है।

इस रोड से दिन-रात काफी वाहनों का आवागमन रहता है। सर्दी के मौसम में यहां से गुजरने वाले लोगों के लिए वह यहां हर रोज अलसुबह व रात्रि के समय अलाव जलाकर रखता है। उसने बताया कि इससे पहले उसके दादा भागू राम यहां पर इसी तरह अलाव जलाया करते थे। जिसके बाद उसके पिता चुन्नी राम ने इस कार्य को जारी रखा। उसके पिता की मृत्यु के बाद उसने भी इस कार्य को जारी रखा हुआ है। सोहन लाल ने बताया कि इस मार्ग से गुजरने वाले वाहन चालक यहां रुककर अलाव सेंकते हैं। दूर से आने वाले राहगिरों को कई बार चाय-पानी भी नि:शुल्क उपलब्ध करवाया जाता है। अनेकों बार वह रात्रि के समय लोगों की कई तरह से मदद कर चुका है।

इस कार्य से उन्हें मिलती है आत्मिक संतुष्टि: सोहन

सोहन लाल एक दिहाड़ीदार मजदूर है। वह यहां अलाव जलाने के लिए स्वयं बनछटियों व उपलों का इंंतजाम करके रखता है। सोहन लाल ने बताया कि उसके बुजुर्गों ने यही सिखाया था कि सर्दी में ठिठुरते व्यक्ति की मदद करना ईश्वर की भक्ति करने के समान है। सोहन लाल द्वारा जलाए गए अलाव पर दिन व रात्रि के समय बहुत से वाहन चालक या अन्य राहगिर रुककर अलाव सेंकते हैं। सोहन लाल ने बताया कि कार्य से इस कार्य से उन्हें आत्मिक संतुष्टि मिलती है।

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