पेट्रोल की कीमतें काबू करने के लिए सरकार ने आज बुलाई तेल कंपनियों की बैठक

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नई दिल्ली (एंजेसी)।

पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर काबू पाने के लिए सरकार बुधवार शाम को तेल कंपनियों के साथ मीटिंग करने जा रही है। ऐसी उम्मीद है कि इसमें एक्साइज डयूटी और वैट टैक्स को कम करने को लेकर फैसला लिया जा सकता है। बता दें कि भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने मंगलवार को कहा था कि इस बारे में जल्द फैसला लिया जाएगा। पिछले 10 दिन से पेट्रोल 2.54 रुपए और डीजल 2.41 रुपए महंगा हुआ है। दिल्ली में बुधवार को डीजल का दाम 26 पैसे की बढ़ोतरी के साथ 68.34 रुपए प्रति लीटर के पार पहुंच गया। वहीं, पेट्रोल में 30 पैसे की तेजी रही और 77.17 रुपए प्रति लीटर रहा।

वित्त मंत्रालय ने पेट्रोलियम मंत्रालय से बातचीत की

पेट्रोल-डीजल की कीमतों में लगातार तेजी ने सरकार के लिए मुश्किल खड़ी कर दी है। इसके लिए कदम उठाने होंगे। वित्त मंत्रालय ने पेट्रोलियम मंत्रालय के बातचीत चल रही है।  बता दें कि हर राज्य में वैट या स्थानीय सेल्स टैक्स की वजह से पेट्रोल-डीजल के दाम अलग-अलग हैं।  बता दें कि कर्नाटक चुनाव से पहले 19 दिन तक पेट्रोल डीजल के दामों में कोई बदलाव नहीं किया गया था। बता दें कि कर्नाटक में 12 मई को मतदान हुआ था।

हम कीमते कम करने के लिए काम कर रहे: शाह

 भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कहा, “सरकार पेट्रोल-डीजल की बढ़ती हुई कीमतों को गंभीरता से ले रही है। पेट्रोलियम मंत्री बुधवार को तेल कंपनियों के मालिकों के साथ मुलाकात करेंगे। हम कीमतों को कम करने के लिए उपाए निकाल रहे हैं।”

एक रुपए की कटौती पर 13,000 करोड़ का नुकसान

पेट्रोल-डीजल पर एक्साइज डयूटी में 1-1 रुपए की कटौती करने पर सरकार को 13,000 करोड़ रुपए का नुकसान होगा। नवंबर 2014 से जनवरी 2016 के दौरान जब क्रूड ऑयल के दाम घट रहे थे, सरकार ने 9 बार में पेट्रोल पर 11.77 रु. और डीजल पर 13.47 रु. एक्साइज बढ़ाई थी। क्रूड महंगा होने पर सिर्फ एक बार, अक्टूबर 2017 में ड्यूटी 2 रु. प्रति लीटर घटाई।

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