Nusrat Faria Arrested: ढाका। बांग्लादेश की सुप्रसिद्ध अभिनेत्री नुसरत फारिया को इनामुल हक नामक व्यक्ति की हत्या के प्रयास के एक प्रकरण में जेल भेज दिया गया है। इस विषय में स्थानीय समाचार माध्यमों ने सोमवार को जानकारी दी है। ज्ञात हो कि नुसरत फारिया ने एक फिल्म में बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की भूमिका निभाई थी। रविवार को जब वे थाईलैंड जाने के लिए ढाका हवाई अड्डे पर पहुँचीं, तब पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया। यह गिरफ्तारी जुलाई 2024 में हुए आंदोलन से संबंधित एक मामले के अंतर्गत की गई, जिसमें उन्हें विधिवत् आरोपी के रूप में दर्ज किया गया। Bangladesh News
सोमवार को ढाका की मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट नसरीन अकतर ने अभिनेत्री को न्यायिक हिरासत में भेजने का आदेश पारित किया। इस विषय पर टिप्पणी करते हुए बांग्लादेश के गृह मामलों के सलाहकार लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) जहांगीर आलम चौधरी ने पुष्टि की कि नुसरत फारिया के विरुद्ध विधिसम्मत प्रक्रिया के अंतर्गत मामला दर्ज किया गया है और मामले की जाँच प्रगति पर है।
किसी निर्दोष को दंड न मिले | Bangladesh News
उन्होंने आश्वस्त किया, “सरकार का दायित्व है कि न्याय सुनिश्चित हो। हम यह भी सुनिश्चित करेंगे कि केवल वे ही व्यक्ति दंडित हों जो विधि का उल्लंघन करने के दोषी हैं, और किसी निर्दोष को दंड न मिले।”
उल्लेखनीय है कि इनामुल हक जुलाई 2024 के उस आंदोलन में सम्मिलित थे, जो वटारा थाना क्षेत्र में हुआ था। आंदोलन के दौरान उन्हें पैर में गोली लगी थी और वे उपचार हेतु अस्पताल में भर्ती कराए गए थे। स्वस्थ होने के उपरांत, उन्होंने 3 मई 2025 को इस संबंध में प्राथमिकी दर्ज करवाई, जिसमें कुल 283 व्यक्तियों को अभियुक्त बनाया गया, जिनमें पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना तथा 17 अन्य कलाकार सम्मिलित हैं। फारिया पर आरोप है कि वे आवामी लीग की आर्थिक सहायक रही हैं। नुसरत फारिया ने वर्ष 2023 में बनी फिल्म ‘मुजीब: द मेकिंग ऑफ़ ए नेशन’ में शेख हसीना की भूमिका निभाई थी, जिसका निर्देशन प्रसिद्ध भारतीय फिल्मकार श्याम बेनेगल ने किया था।
बांग्लादेश के संस्कृति मामलों के सलाहकार सरवर फारूकी ने नुसरत फारिया की गिरफ्तारी को सरकार के लिए “शर्मनाक स्थिति” बताया। उन्होंने सोमवार को एक सोशल मीडिया पोस्ट में आशा प्रकट की कि अभिनेत्री को न्याय अवश्य मिलेगा। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार का दायित्व है कि आंदोलन के वास्तविक दोषियों को दंड मिले, न कि किसी निर्दोष को। साथ ही उन्होंने यह भी दोहराया कि जब तक प्रारंभिक जांच में संलिप्तता प्रमाणित न हो, तब तक किसी की गिरफ्तारी नहीं की जाएगी — यह सरकार की स्पष्ट नीति है। Bangladesh News