भोपाल। राजधानी में चर्चित लव जिहाद और यौन शोषण प्रकरण को लेकर प्रशासन ने सख्त रुख अपनाते हुए आरोपितों के अवैध निर्माणों पर बुलडोज़र चलाना आरम्भ कर दिया है। भारी पुलिस सुरक्षा के बीच साहिल तथा साद उर्फ शम्सुद्दीन के मकानों को ध्वस्त किया गया। Bhopal bulldozer action
फरहान, साहिल, साद समेत कुछ अन्य व्यक्तियों पर एक निजी अभियांत्रिकी महाविद्यालय में छात्राओं के साथ यौन उत्पीड़न, ब्लैकमेल और जबरन धर्मांतरण के आरोप हैं। पीड़िताओं का कथन है कि आरोपितों ने स्वयं को हिंदू बताकर मित्रता की, फिर उनके अश्लील वीडियो बनाकर दबाव बनाया और वसूली की।
उप जिलाधिकारी रवीश श्रीवास्तव ने जानकारी दी कि तीन व्यक्तियों के विरुद्ध शिकायतें प्राप्त हुई थीं, जिनमें से दो पर कार्रवाई की जा रही है और कार्य लगभग पूर्ण हो चुका है। इसी क्रम में क्लब-90 नामक एक रेस्तरां, जिस पर अनुचित गतिविधियों में संलिप्त होने का संदेह था, का अवैध निर्माण तोड़ दिया गया तथा उसकी लीज भी निरस्त कर दी गई।
विशेष जांच दल फरार आरोपितों की तलाश में सक्रिय
अधिकारियों के अनुसार कुछ अन्य स्थानों पर भी कार्रवाई जारी है, जबकि फरहान के घर को अभी लक्ष्य नहीं बनाया गया है। इस बीच विशेष जांच दल (एसआईटी) सबूत संकलित कर रहा है तथा फरार आरोपितों की तलाश में सक्रिय है। इस मामले ने भोपाल में तीखी बहस और विरोध प्रदर्शन को जन्म दिया है। प्रशासन का कहना है कि शैक्षणिक संस्थानों में किसी भी प्रकार की आपराधिक गतिविधि को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और शून्य सहनशीलता की नीति अपनाई जाएगी।
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को भेजी गई शिकायत में छात्राओं के शोषण संबंधी गंभीर आरोप दर्ज हुए हैं। शिकायतकर्ताओं का कहना है कि अनेक युवतियों को झूठे वादों और छद्म पहचान के सहारे प्रेमजाल में फंसाया गया। विश्वास अर्जित करने के बाद उनका शारीरिक शोषण किया गया, अश्लील वीडियो बनाए गए और ब्लैकमेल कर उन्हें चुप रहने पर विवश किया गया। पीड़िताओं का यह भी आरोप है कि उन पर न केवल चुप रहने का दबाव डाला गया, बल्कि उन्हें धर्म परिवर्तन और जबरन विवाह के लिए भी बाध्य किया गया। Bhopal bulldozer action