
दिल्ली–मेरठ एक्सप्रेस-वे पर उतार-चढ़ाव की मांग को लेकर किसानों का अनिश्चितकालीन आंदोलन तेज
- यह 20 गांवों के किसानों की सामूहिक समस्या है, हम आखिरी दम तक लड़ेंगे और उतार-चढ़ाव लेकर ही रहेंगे:बिजेंद्र सिंह
- कड़ाके की ठंड में दसवें दिन भी जारी रहा भाकियू का अनिश्चितकालीन धरना,बड़े आंदोलन की तयारी में जुटे किसान
प्रताप नगर (सच कहूँ/राजेंद्र कुमार)। Pratap Nagar News: दिल्ली–मेरठ एक्सप्रेस-वे के पांचवें चरण में निर्माणाधीन तलहेटा गोल चक्कर पर किसानों का आंदोलन लगातार तेज होता जा रहा है। कड़ाके की ठंड के बावजूद बुधवार को भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के गाजियाबाद जिला अध्यक्ष बिजेंद्र सिंह नेतृत्व में चल रहा अनिश्चितकालीन धरना दसवें दिन भी जारी रहा।
हाईवे से उतार-चढ़ाव (इंटरचेंज/रैंप) की मांग और क्षेत्रीय समस्याओं को लेकर गाजियाबाद जनपद के 20 से अधिक गांवों के किसान धरने पर डटे हुए हैं। धरने का नेतृत्व भाकियू जिला अध्यक्ष बिजेंद्र सिंह कर रहे हैं। धरने की अध्यक्षता जयनंद प्रधान ने की, जबकि संचालन कुलदीप त्यागी (तलहेटा उपाध्यक्ष, मेरठ मंडल) ने किया। किसानों का कहना है कि यदि तलहेटा क्षेत्र पर उतार-चढ़ाव नहीं दिया गया तो आसपास के गांवों की खेती, व्यापार और आवागमन बुरी तरह प्रभावित होगा।
एनएचएआई और प्रशासन ने मानी किसानों की समस्याएं हैं | Pratap Nagar News
धरना स्थल पर एनएचएआई के परियोजना निदेशक अरविंद कुमार, अन्य अधिकारी तथा तहसीलदार रजत कुमार किसानों से मिलने पहुंचे। अधिकारियों ने किसानों की समस्याओं को वाजिब मानते हुए कहा कि जो मुद्दे उनके स्तर के हैं, उनका समाधान किया जाएगा। साथ ही उतार-चढ़ाव की मांग को लेकर उच्च अधिकारियों को प्रस्ताव भेजने का आश्वासन दिया।
उतर चढ़ाव नहीं तो सभी जगह काम बंद करने की दी चेतावनी
इस दौरान भाकियू जिला प्रभारी जयकुमार मलिक ने अधिकारियों को चेतावनी देते हुए कहा कि यदि किसानों की मांगों पर जल्द निर्णय नहीं हुआ तो जीरो प्वाइंट से बिजौली तक चल रहे सभी निर्माण कार्य बंद करवा दिए जाएंगे । उन्होंने कहा कि आवश्यकता पड़ी तो किसान यूनियन द्वारा मशीनों पर यूनियन का झंडा बांधकर काम रुकवाया जाएगा।
जयकुमार मलिक ने साफ शब्दों में कहा कि जब तक यहां उतार-चढ़ाव नहीं मिलेगा, तब तक धरना जारी रहेगा। और कम्पनी का अन्य जगहों पर चल रहा काम भी बंद करेंगे। Pratap Nagar News
किसानों ने दीं चुनाव बहिष्कार तक की चेतावनी
धरने को संबोधित करते हुए कुलदीप त्यागी ने कहा कि यदि मांगें नहीं मानी गईं तो किसान आगामी पंचायत और विधानसभा चुनावों के बहिष्कार पर मजबूर होंगे। उन्होंने कहा कि उतार-चढ़ाव मिलने तक किसी भी सांसद या विधायक को गांवों में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा।वहीं जिला अध्यक्ष बिजेंद्र सिंह ने आंदोलन को आर-पार की लड़ाई बताते हुए कहा कि यह गाजियाबाद के 20 गांवों के किसानों की सामूहिक समस्या है। हम आखिरी दम तक लड़ेंगे और उतार-चढ़ाव लेकर ही रहेंगे।
किसानों की एकजुटता का प्रदर्शन | Pratap Nagar News
धरने में भाकियू के राष्ट्रीय सचिव चौधरी ओमपाल सिंह , जिला और तहसील स्तर के पदाधिकारी, युवा संगठन के प्रतिनिधि तथा सैकड़ों किसान मौजूद रहे। बड़ी संख्या में किसानों की उपस्थिति ने आंदोलन को और मजबूती दी। ग्रामीणों ने एक स्वर में कहा कि यह संघर्ष केवल सड़क का नहीं, बल्कि रोजगार, खेती और भविष्य से जुड़ा है।
जब तक मांग पूरी नहीं, आंदोलन जारी
किसानों ने स्पष्ट कर दिया है कि जब तक तलहेटा गोल चक्कर पर हाईवे से उतार-चढ़ाव की सुविधा नहीं दी जाती, तब तक आंदोलन समाप्त नहीं होगा। ठंड, दबाव और आश्वासनों के बावजूद किसानों का रुख सख्त बना हुआ है।दिल्ली–मेरठ एक्सप्रेस-वे पर चल रहा यह आंदोलन अब प्रशासन और सरकार के लिए एक बड़ी चुनौती बनता जा रहा है।














