
he right time to drink water: नई दिल्ली। वैसे तो आजकल शरीर को स्वस्थ रखना महाभारत है, क्योंकि आजकल खानपान ही ऐसा है। फिर भी शरीर को स्वस्थ रखने के लिए संतुलित भोजन के अलावा पानी पीना भी अति आवश्यक है। मानव शरीर की रचना इस प्रकार से की गई है कि उसके अंदर 70 फीसदी पानी है, लेकिन आपको बता दें कि आयुर्वेद में पानी को ‘औषधि’ माना गया है। इसलिए शरीर को स्वस्थ रखने के लिए सही समय और उचित मात्रा में पानी पीना बड़ा लाभदायक माना गया है। Drinking water benefits
आयुर्वेद में पानी शरीर के पांच तत्वों में शामिल है, जोकि मनुष्य के शरीर का निर्माणकर्ता होता है। सही समय और उचित मात्रा में पीया गया पानी आपके शरीर से रोगों का नाश कर सकता है। इसलिए तो पानी सिर्फ प्यास बुझाने का काम ही नहीं करता, अपितु रक्त संचार को दुरुस्त बनाने, शरीर की गंदगी बाहर निकालने, शरीर के तापमान को बेहतर बनाए रखने, गुर्दे और किडनी का सही संचालन करने, पाचन शक्ति बढ़ाने और मस्तिष्क को अच्छे से वर्क करने में मदद करता है।
साइंस के अनुसार मस्तिष्क का करीब 80 फीसदी हिस्सा ही पानी से बना है। यही कारण है कि यह शरीर के जरूरी अंगों को सुचारू रूप से काम करने में मदद करता है। यदि आपके शरीर में पानी की मात्रा गड़बड़ा जाएगी तो आपके अंदर चिड़चिड़ापन, यूरिन इंफेक्शन, पथरी, मांसपेशियों में जकड़न, थकान और याद्दाश्त में कमी जैसी बीमारियां घर कर सकती हैं। इन बीमारियों का आसान सा हल आयुर्वेद के पास है, जिसमें पानी पीने के तीन तरीकों का जिक्र किया गया है, जोकि निम्न प्रकार से हैं :
आयुर्वेद में गर्म पानी पीने का महत्व | Drinking water benefits
यदि आपको कफ, जुखाम या सर्दी जैसी समस्या रहती है तो आपको गर्म पानी पीना चाहिए। लेकिन ज्यादा गर्म पानी भी पीने से बचें। केवल गर्म पानी इतना ही पीएं जो आपके पेट और स्किन को नुकसान न पहुंचाए। ज्यादा गर्म पानी पीने से त्वचा शुष्क हो जाती है और छाले होने की संभावना भी रहती है। वैसे गर्म पानी पीने से पाचन क्रिया तो ठीक रहती है और वजन भी कंट्रोल में रहता है। और तो और पानी को उबालने के बाद ठंडा होने पर ही पीना चाहिए, जो काफी फायदेमंद होता है। बता दें कि एक स्वस्थ व्यक्ति को रोजाना 3.7 लीटर और महिलाओं को 2.7 लीटर पानी पीना चाहिए।
यदि आप अपनी डाइट में हर्बल पानी जोड़ते हैं तो कई बीमारियों पनपने से पहले ही रोका जा सकता है। जैसे तांबे के बर्तन में पानी पीना बहुत ही बेहतर होता है। इसके लिए आप सुबह खाली पेट तांबे के बर्तन में पानी पीऐं जोकि तीनों दोष संतुलित करता है और ये पेट के लिए किसी टॉनिक से कम नहीं होता। लेकिन सर्दियों में इसे लेने से बचना चाहिए, क्योंकि ये ठंडा होता है। आयुर्वेद की मानें तो खाना खाने के बाद गर्म पानी पीना सेहत के लिए अच्छा माना गया है। आयुर्वेद के अनुसार खाना खाने के 30 मिनट बाद हल्का गर्म पानी थोड़े-थोड़े अंतराल में पीते रहना चाहिए, इससे पेट की जठराग्नि बढ़ती है और आपकी पाचन क्रिया तेजी से होती है। Drinking water benefits