हरियाणा : वित्त वर्ष 2022-24 के लिए 2455.39 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत

Chief Minister Manohar Lal
Chief Minister, Manohar Lal
  • मुख्यमंत्री मनोहर लाल की अध्यक्षता में हुई स्टेट हेल्थ सोसायटी एनएचएम, हरियाणा की बैठक
  • हरियाणा में हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर पर दिया जा रहा है जोर
  • 2022-23 के लिए 110 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत
  • ई-संजीवनी हेल्थ एंड वेलनैस सेंटर की कार्यशैली की लोकसभा में हुई थी सराहना

चंडीगढ़ (सच कहूँ न्यूज)। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल (Chief Minister Manohar Lal) ने कहा कि नेत्रदान-महादान है। एक ‌व्यक्ति द्वारा दान किए गए उसके नेत्र से किसी अन्य व्यक्ति की जींदगी रोशनी से भर जाती है। इसलिए नेत्रदान के लिए लोगों को जागरूक करने हेतु विशेष अभियान चलाया जाए। साथ ही, स्कूली बच्चों का वर्ष में कम से कम एक बार हेल्थ चैकअप अवश्य किया जाना चाहिए। इसके अलावा, नेशनल हेल्थ मिशन द्वारा स्वास्थ्य देखभाल की दृष्टि से अमल में लाई जा रही गतिविधियों, कार्यक्रमों की जानकारी जन-जन तक पहुंचाने के लिए व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाए।

मुख्यमंत्री देर सायं स्टेट हेल्थ सोसायटी एनएचएम, हरियाणा की 8वीं जनरल बॉडी बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में बताया गया कि हरियाणा में में स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करने के लिए हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर में मजबूती लाने की दिशा में केंद्र सरकार की ओर से प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर मिशन के तहत हरियाणा के लिए वर्ष 2022-23 के लिए 110 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की गई है। इस मिशन के तहत कुल 5 वर्ष की अवधि के लिए वित्तीय परिव्यय 685 करोड़ रुपये है। इस 5 वर्षों की अवधि में 17 जिला अस्पतालों में क्रिटिकल केयर ब्लॉक, 5 मेडिकल कॉलेज में क्रिटिकल केयर ब्लॉक और 22 जिलों में एकीकृत जिला जन स्वास्थ्य लैब की स्थापना की जाएगी।

एनएचएम की गर्विनंग और जनरल बॉडी की बैठक वर्ष में एक बार करने के निर्देश

सीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि जिला स्तर पर गठित एनएचएम की गर्विनंग और जनरल बॉडी की बैठक वर्ष में कम से कम एक बार अवश्य की जाए। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव को निर्देश दिए कि मुख्यालय से 2-3 अधिकारियों की ड्यूटी लगाई जाए, जो जिलों में जाकर इन बैठकों का संचालन करेंगे। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य, शिक्षा और खेल विभागों में अलग से इंजीनियरिंग विंग स्थापित की जाए।

हरियाणा को एनीमिया मुक्त करने के लिए तैयार होगी योजना

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि हरियाणा को एनीमिया मुक्त करने के लिए तैयार राज्य कार्य योजना को तेजी से क्रियान्वित किया जाए, ताकि हरियाणा को एनीमिया मुक्त करने के लक्ष्य को जल्द से जल्द हासिल किया जा सके। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि एक पोर्टल बनाया जाए, जिस पर मरीज कृत्रिम अंगों की आवश्यकता की जानकारी दर्ज करवा सकें

अस्पतालों में जल्द किचन सुविधा की व्यवस्था की जाए

स्वास्थ्य मंत्री  अनिल विज ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि अस्पतालों में किचन सुविधा के लिए तेज गति से कार्य किया जाए, ताकि मरीजों के लिए पोष्टिक आहार मिल पाए। साथ ही मरीजों के साथ आने वाले अटेंडेंट को भी भोजन की सुविधा उपलब्ध हो सके। उन्होंने यह ‌भी निर्देश दिए कि एनएचएम का हर वर्ष आॅडिट करवाया जाए। उन्होंने कहा कि कोरोना का नया वेरिएंट आया है, इसलिए विभाग पूरी सतर्कता बरते।

नेत्र जांच के समय एम्ब्लियोपिया पर विशेष ध्यान दिया जाए

शहरी स्थानीय निकाय मंत्री श्री कमल गुप्ता ने अधिकारियों को निर्देश ‌देते हुए कहा कि बच्चों के नेत्र जांच के दौरान एम्ब्लियोपिया पर विशेष ध्यान दिया जाए। एम्ब्लियोपिया ज्यादातर डाइगनोज नहीं हो पाता, जिससे बच्चों की आंखों की दृष्टि कमजोर हो जाती है। उन्होंने कहा कि यह एक दृष्टि विकास विकार है, जो बाल्यावस्था और बचपन के दौरान आंखों और मस्तिष्क को प्रभावित करता है, इसलिए इस ओर विशेष ध्यान देने की जरूरत है।

एम्स के नेत्र विशेषज्ञ डॉक्टर के सहयोग से 4 जिलों का किया जाएगा सर्वे

बैठक में बताया गया कि प्रदेश में 23 नेत्रदान केंद्र स्थापित किए गए हैं। करनाल और नूहं में 2 नेत्र बैंक भी स्थापित किए जाएंगे। एम्स के नेत्र विशेषज्ञ डॉक्टर के सहयोग से गुरुग्राम, यमुनानगर, फतेहाबाद और नूहं जिलों का सर्वे करवाया जाएगा, जिसके तहत 20 हजार से अधिक लोगों का नेत्र जांच की जाएगी। इसके अलावा, जल्द ही प्रदेश में ज्योति ऐप भी लॉन्च किया जाएगा।

ई-संजीवनी हेल्थ एंड वेलनैस सेंटर की कार्यशैली की लोकसभा में हुई थी सराहना

बैठक में बताया गया कि ई-संजीवनी हेल्थ् एंड वेलनैस सेंटर टेली-कंस्लटेशन सर्विस के तहत पीजीआईएमआर, चंडीगढ़ में एक हब बनाया गया है, जिसमें विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम 24 घंटे टेली-कंस्लटेशन सर्विस के लिए उपलब्ध है। हेल्थ एंड वेलनैस सेंटर के डॉक्टर मरीजों की बिमारी के संबंध में आॅनलाइन माध्यम से सीधे पीजीआई के विशेषज्ञ डॉक्टरों से परामर्श ले रहे हैं। हरियाणा की इस पहल की केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया ने लोकसभा में प्रशंसा की है।

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