नौकरी से फारिग करने के विरोध में कोरोना योद्धाओं ने निकाला रोष मार्च
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कांग्रेस प्रधान की रिहायश को घेरने का किया प्रयास, भारी पुलिस फोर्स ने रास्ते में रोका
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पुलिस प्रशासन ने दोपहर बाद कांग्रेस भवन में नवजोत सिद्धू के साथ बातचीत करने का दिया आश्वासन
पटियाला(सच कहूँ न्यूज)। पंजाब में से कैप्टन सरकार जाने के बाद और चन्नी सरकार आने पर सबसे बड़ा खामियाजा पिछले दो सालों से लगातार जोखिम भरी ड्यूटियों कर रहे ‘कोरोना योद्धाओं’ को नौकरियों से हाथ धोना पड़ रहा है। प्रमुख सचिव रिसर्च मैडीकल और शिक्षा की तरफ से जारी आदेशों के अनुसार 1822 कर्मचारियों को 30 सितम्बर से नौकरी से फारिग करने के लिए कहा गया है, जिसमें सरकारी मैडीकल कॉलेज पटियाला, श्री अंमृतसर साहब और फरीदकोट शामिल हैं।
सबसे अधिक अमला राजिन्द्रा हस्पताल पटियाला में तैनात है। राज्य प्रधान दर्शन सिंह लुबाना, सचिव जनरल रणजीत सिंह राणवा, राम किशन, स्वर्ण सिंह बंगा ने बताया कि अपनी, नौकरियों में विस्तार करवाने के लिए नये मुख्यमंत्री और कांग्रेस प्रधान को इस सब घटना संबंधी मेल कर ध्यान में लाया जाता रहा परंतु किसी की तरफ भी कोई स्वीकृति न देने पर समूह कोरोना योद्धा पहले राजिन्द्रा अस्पताल कॉम्पलैक्स में एकत्रित हुए। यहां प्रदशर्न करने के बाद रोष मार्च करते हुए कांग्रेस प्रधान की रिहायश में पहुँचे। जहां भारी पुलिस फोर्स ने उनको रिहायश से पहले ही रोक लिया, जहां उन्होंने धरना लगाकर अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल शुरू कर दी है।
इस दौरान पुलिस प्रशासन ने एक पत्र दर्शन सिंह लुबाना को सौंपा, जिसमें कांग्रेस प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू के साथ बाद दोपहर कांग्रेस भवन चण्डीगढ़ में बातचीत करने का न्योता दिया गया। उपस्थित नेताओं ने ऐलान किया कि कोरोना योद्धाओं की नौकरी जारी रखने के लिए 29 सितम्बर को जिला स्तर पर चौथा दर्जा कर्मचारी जोरदार रैलियां करेगा और 27 सितम्बर को किसानी संघर्ष के समर्थन में भारत बंद के आह्वान का पुरजोर समर्थन किया जाएगा और सांझी रैलियों में भी बढ़चढ़ कर शामिल होगा। उन्होंने कहा कि चौथा दर्जा कर्मचारियों की मांगों सहित कच्चे, आउट सोर्स कर्मचारियों को पक्का करवाने के लिए नये मुख्य मंत्री को मैमोरंडम भेजे जाएंगे।
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