डंकी रुट ले रहा युवाओ की जान, बेटे की मौत से आहत परिजन रो रोकर पुकार रहे “कोई अपने बच्चो को डंकी रूट से विदेश ने भेजना”

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Kaithal डंकी रुट ले रहा युवाओ की जान, बेटे की मौत से आहत परिजन रो रोकर पुकार रहे "कोई अपने बच्चो को डंकी रूट से विदेश ने भेजना"

कैथल सच कहूँ /कुलदीप नैन | डंकी रूट से अमेरिका सहित अन्य देशो में जाने का सपना देख रहे भारतीय अब एजेंटों और डोंकरो के चक्रव्यूह में फंसकर अपनी जान गंवा रहे है | पहले तो इन युवाओ और इनके परिजनों को विदेशो के हसीन सपने दिखाए जाते हैं | फिर इनको अमेरिका भेजने के लिए, कम पैसो का लालच दिया जाता है और इसके लिए डंकी रुट का सहारा लिया जाता है | लेकिन ये डंकी रुट कितना खतरनाक होता है ये कोई एजेंट परिजनों को नहीं बताता | बहुत से युवाओ का इस डंकी रूट पर अपहरण कर लिया जाता है और फिर परिजनों से फिरौती की मांग की जाती है | जब तक फिरौती की रकम नहीं पहुँचती तब तक इन युवाओ के साथ मारपीट की जाती है और कई अन्य प्रकार की यातनाएं युवाओ को दी जाती है | वहीं कई बार ऐसा भी होता है कि अपहरण करके फिरौती की रकम न मिलने पर युवाओ को मौत के घाट भी उतार दिया जाता है |

डंकी रुट के इसी दर्द को कैथल जिले के मोहना गाँव का एक परिवार भी झेल चुका है | बेटे युवराज की विदेश जाने की इच्छा के चलते जहाँ परिवार ने आर्थिक रूप से सक्षम न होते हुए कर्ज का बोझ तो उठाया ही साथ ही बेटे को भी गंवा लिया | आरोपियों ने युवराज का डंकी रूट पर अपहरण करके उसकी हत्या कर दी | परिवार पर सबसे बड़ा जुल्म तो यह हुआ कि परिजन अपने लाल को आखिरी बार देख भी नहीं पाए और उसका संस्कार भी करना नसीब नहीं हुआ | परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है और बार बार यही पुकार रहे है कि कोई भी अपने बच्चों को ‘डंकी रूट’ से विदेश न भेजे।

युवराज के अपहरण होने पर पिता ने दी थी पुलिस को शिकायत

गांव मोहना निवासी कुलदीप सिंह ने पुलिस को दी शिकायत में बताया था कि उसने बेटे युवराज को अमेरिका भेजने के लिए कुछ एजेंटों से संपर्क किया था। एजेंटों ने कहा था कि वे जहाज के जरिये सीधे अमेरिका भेजेंगे और इसके लिए 41 लाख रुपये की डील तय हुई। सितंबर 2024 में एजेंटों ने पासपोर्ट ले लिया और कहा कि पैसे तभी देने हैं जब युवराज अमेरिका पहुंच जाएगा। 17 अक्तूबर को एजेंटों ने टिकट आदि के नाम पर 16 लाख रुपये की मांग की, जो एजेंट नवजोत सिंह को दे दिए गए। बीच-बीच में एजेंट युवराज के परिवार से बात करवा देते थे, जिससे परिवार को भरोसा बना रहा। दिसंबर 2024 में युवराज के पिता को एक अनजान नंबर से संदेश मिला कि उनका बेटा ग्वाटेमाला में अगवा कर लिया गया है और उसे छुड़ाने के लिए 20 हजार डॉलर की फिरौती मांगी जा रही थी । डोंकरों ने वीडियो भी भेजा, जिसमें युवराज परिजनों से रो-रोकर मदद की गुहार लगा रहा तरह था । परिवार ने बताया कि एजेंट लगातार कहता रहा कि युवराज सुरक्षित है और जल्द ही वापस आ जाएगा।

एजेंटों की चालबाज़ी ने बेटे युवराज की जान ले ली

परिजन लम्बे समय तक इंतज़ार करते रहे। परंतु जब उन्होंने निजी स्तर पर जांच कराई, तो पता चला कि युवराज की चार मार्च को हत्या कर दी गई थी। युवराज के परिजनों ने अन्य एजेंटों से संपर्क कर जानकारी जुटाने की कोशिश की। डोंकरों ने उन्हें युवराज की मौत की पुष्टि करने के लिए चार लाख रुपये और मांगे, जिसके बाद उन्हें वीडियो और सबूत दिए गए। परिवार को जब यह पता चला कि युवराज का शव वहीं दफना दिया गया, तो उनका दर्द और गहरा गया। परिजनों ने कहा कि एजेंटों की चालबाज़ी ने उनके बेटे युवराज की जान ले ली। मां सर्वजीत कौर और बहन बार-बार उसकी तस्वीर देखकर फफक कर रो रही हैं |

आरोपी एजेंट जेल में बंद

धोखाधड़ी करने वाले आरोपी एजेंट गांव दुसैन निवासी नवजोत उर्फ जोधा को पुलिस ने इसी साल मार्च में गिरफ्तार किया था। परिजनों ने कहा कि जो एजेंट जेल में बंद हैं, वे अब बेल के प्रयास कर रहे हैं, जबकि उन्हें सख्त सजा मिलनी चाहिए ताकि कोई और परिवार ऐसी त्रासदी न झेले।