Welfare Work: धर्म देखा न जात, उठकर भाग लिए आधी रात! डेंगू रोगी की जान बचाने पहुंचे एमएसजी के सेवादार

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चलते फिरते ट्रयू ब्लड पंप की रगों से निकला चार यूनिट रक्त दान

Welfare Work: श्रीगंगानगर। नवंबर महीने की शुरुआत होते ही सच्चे नम्र सेवादार राकेश धींगरा इन्सां व अमर गेरा के फोन की घंटियां बजती है। फोन कहीं और से नहीं डेरा सच्चा सौदा हेल्पलाइन सिरसा से आया है। हेल्पलाइन पर बोलने वाले सेवादार ने उन्हें चार यूनिट रक्तदान तुरंत करवाने को कहता है और फोन काट देता है। संदेश को सुनकर व पढ़कर राकेश व अमर बिना समय गवाएं दो सेवादारों को लेकर पहुंच जाते हैं मानवता की सेवा करने । मानवता की सेवा का दान जिस रोगी के लिए किया जाना था उस रोगी का धर्म क्या है? उस समय क्या है? इन सब बातों से बेखबर सेवादार सुबह 2:30 बजे रक्तदान करते हैं। रक्त पाकर रोगी का परिजन सेवादारों का धन्यवाद करता है और अनयास ही बोल पड़ता है अल्लाह तेरा लख लख शुक्र। मैरा तूं ही सहारा सी जो अधी राती फरिश्ते घल्ले। Sri Ganganagar News

मानवता भलाई कार्यो में अग्रणी डेरा सच्चा सौदा के पूज्य गुरु संत डा.गुरमीत राम रहीम सिंह जी इन्सां के बनाए ट्रयू ब्लड पंप डेंगू पीड़ितों के लिए आक्सीजन का काम कर रहे हैं। हर दूसरे तीसरे दिन किसी न किसी ब्लड बैंक से सेवादारों को यह शब्द सुनने को मिल जाते हैं। पर गुरु के बताए पर गुरु के बताए मार्ग पर चलते हुए सेवादार लगातार डेंगू पीड़ित रोगियों के लिए रक्तदान व एसडीपी डोनेट कर रहे हैं। सच्चे नम्र सेवादार राकेश धींगरा ने बताया कि बेपरवाह शाह मस्ताना जी महाराज के पावन अवतार माह के शुभारंभ के चलते रविदास नगर में नामचर्चा का आयोजन किया गया था। हम सभी लोग नाम चर्चा के बाद एमएसजी डेरा सच्चा सौदा व मानवता भलाई केंद्र में रुके हुए थे।

कुछ घंटे की देरी से रोगी की जान जा सकती थी

इसी दौरान डेरा सच्चा सौदा हेल्पलाइन से एक डेंगू पीड़ित रोगी के लिए तुरंत रक्तदान करने का संदेश आता है। सेवादार कहता है कि रोगी के प्लेटलेट्स बिल्कुल कम है और रक्त नहीं मिला तो उनकी जान जा सकती है। सेवादार राकेश ने तुरंत अपने साथी सच्चे नम्रं सेवादार अमर गैरा व उनके पुत्र साहिल गैरा के साथ निखिला मक्कड़ को साथ लिया और जा पहुंचे शहर से 10 किमी बाहर हनुमानगढ़ रोड पर स्थित जन सेवा हॉस्पिटल के ब्लड बैंक में। जहां पर ब्लड बैंक में उपस्थित चिकित्सक द्वारा संबंधित ब्लड ग्रुप का रक्त मिलने पर ही प्लेटलेट्स देने की बात कही गई थी सेवादार ब्लड बैंक में पहुंचते ही मरीज के लिए रक्तदान करने को बोलते हैं।

जब चिकित्सक उन्हें संबंधित रोगी की स्लिप दिखता है तो पता चलता है कि रोगी बींझवयला निवासी फिरोज खान है और उसकी प्लेटलेट्स 9000 रह गई है कुछ घंटे की देरी रोगी की जान ले सकती है। डेरा सच्चा सौदा हेल्पलाइन से रक्त मांगने वाला इसका परिजन रफीक खान है। सेवादारों ने बिना जाति पार्टी के मानवता की सेवा करने की बात उसे बताई तो उसने कहा कि है काम परवरदिगार अपने फरिश्तों से ही करवा सकता है। रक्तदान करने के बाद रोगी को प्लेटलेट्स मिल सके। Sri Ganganagar News