Kidney Damage Signs: किडनी डैमेज के संकेत, जब पैर देने लगते हैं चेतावनी, इन 5 लक्षणों को बिल्कुल न करें नजरअंदाज

Kidney Damage Signs
Kidney Damage Signs: किडनी डैमेज के संकेत, जब पैर देने लगते हैं चेतावनी, इन 5 लक्षणों को बिल्कुल न करें नजरअंदाज

Kidney Damage Signs: हमारी किडनी यानी गुर्दे शरीर के सबसे अहम अंगों में से एक है, जो रक्त को फिल्टर करके शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकालने का काम करती है। लेकिन जब यह अंग धीरे-धीरे काम करना बंद कर देता है, तो इसके संकेत शरीर के विभिन्न हिस्सों में दिखाई देने लगते हैं — खासकर पैरों में।

डॉक्टर्स के मुताबिक, भारत में हर साल लाखों लोग क्रॉनिक किडनी डिजीज (CKD) के शिकार होते हैं, लेकिन उनमें से ज़्यादातर लोग समय रहते लक्षणों को पहचान नहीं पाते। खास बात यह है कि किडनी की बीमारी के कई लक्षण पैरों में उभरते हैं, जिन्हें लोग अक्सर मामूली समझकर नजरअंदाज़ कर देते हैं। अगर आप भी इन संकेतों को अनदेखा कर रहे हैं, तो यह आपकी सेहत के लिए बड़ा खतरा बन सकता है। आज हम आपको बताएंगे किडनी खराब होने पर पैरों में दिखने वाले 5 अहम संकेत, जिनकी पहचान कर समय रहते इलाज शुरू करना ज़रूरी है।

1. पैरों और टखनों में सूजन | Kidney Damage Signs

किडनी का काम शरीर से अतिरिक्त तरल पदार्थ और सोडियम को बाहर निकालना होता है। जब यह प्रक्रिया सही से नहीं होती, तो शरीर में पानी जमा होने लगता है — खासतौर पर पैरों और टखनों में। यह सूजन शुरुआत में हल्की हो सकती है, लेकिन धीरे-धीरे यह बढ़ती जाती है। कई लोग इसे थकान, अधिक देर खड़े रहने या गर्मी का असर मानकर इग्नोर कर देते हैं।

विशेषज्ञों की राय

अगर सुबह उठने पर या कुछ देर बैठने के बाद आपके पैरों में भारीपन और सूजन महसूस होती है, तो यह किडनी की कार्यप्रणाली में गड़बड़ी का संकेत हो सकता है।

2. पैरों में झुनझुनी या सुन्नपन

किडनी जब ठीक से काम नहीं करती, तो खून में विषैले तत्व (toxins) जमा होने लगते हैं। इससे नर्व्स पर दबाव बढ़ जाता है, खासकर पैरों और हाथों की नसों पर।
इसका नतीजा होता है – पैरों में झुनझुनी, जलन या सुन्नपन। कभी-कभी यह स्थिति इतनी ज्यादा बढ़ जाती है कि रात में सोते वक्त पैरों में सुई चुभने जैसा दर्द महसूस होता है।

डॉक्टरी सलाह | Kidney Damage Signs

अगर आपको बार-बार पैरों में सिहरन या सुन्नपन महसूस हो रहा है, तो यह सिर्फ नसों की समस्या नहीं बल्कि न्यूरोपैथी या किडनी फेलियर का संकेत भी हो सकता है।

3. चलने में थकान और कमजोरी महसूस होना

किडनी खराब होने पर शरीर में आवश्यक हीमोग्लोबिन और विटामिन D की कमी हो जाती है। इसके कारण मांसपेशियां कमजोर पड़ने लगती हैं और पैरों में जल्दी थकान महसूस होती है। कई बार सीढ़ियां चढ़ने, लंबी दूरी चलने या खड़े रहने में भी दिक्कत होती है। यह कमजोरी किडनी से संबंधित एनीमिया का संकेत हो सकती है।

स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं

अगर आप सामान्य दिनचर्या में भी जल्दी थकने लगे हैं या चलने में तकलीफ हो रही है, तो तुरंत अपने डॉक्टर से मिलें और किडनी फंक्शन टेस्ट (KFT) करवाएं।
4. त्वचा पर खुजली और रूखापन
किडनी शरीर में मिनरल्स और पोषक तत्वों का संतुलन बनाए रखती है। जब यह काम सही से नहीं होता, तो शरीर में फास्फोरस और यूरिया का स्तर बढ़ जाता है, जिससे त्वचा पर खुजली, रूखापन और जलन होने लगती है।
पैरों की त्वचा इस स्थिति में सबसे ज्यादा प्रभावित होती है — खासकर घुटनों के नीचे। कई बार त्वचा पर सफेद परत जमने लगती है और बार-बार खुजली करने से स्किन पर घाव बन जाते हैं।

डॉक्टर्स की चेतावनी

अगर आपकी त्वचा लगातार खुजला रही है और क्रीम या लोशन से आराम नहीं मिल रहा, तो यह किडनी की बीमारी का लक्षण हो सकता है।

5. पैरों में ऐंठन और मरोड़ | Kidney Damage Signs

किडनी की खराबी शरीर में इलेक्ट्रोलाइट्स जैसे कैल्शियम, सोडियम और पोटैशियम के संतुलन को प्रभावित करती है। इससे पैरों की मांसपेशियों में खिंचाव और ऐंठन की समस्या शुरू हो जाती है।
यह समस्या अक्सर रात को सोते समय अधिक महसूस होती है, जब अचानक पैर की मांसपेशी सिकुड़ जाती है और तेज दर्द होता है।

विशेषज्ञ बताते हैं:

अगर ये ऐंठन बार-बार हो रही है और घरेलू उपायों से ठीक नहीं हो रही, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें, क्योंकि यह किडनी फेलियर का शुरुआती संकेत हो सकता है।

क्यों ज़रूरी है समय पर पहचान?

किडनी की बीमारी ‘साइलेंट किलर’ मानी जाती है, क्योंकि इसके लक्षण धीरे-धीरे उभरते हैं और लोग तब तक इन्हें गंभीरता से नहीं लेते जब तक स्थिति बिगड़ न जाए। समय रहते यदि इन लक्षणों की पहचान कर ली जाए, तो किडनी डैमेज को रोका जा सकता है या कम से कम इसकी गति को धीमा किया जा सकता है।
क्या करें बचाव के लिए?
1. नियमित रूप से KFT टेस्ट कराएं
2. ब्लड प्रेशर और डायबिटीज को नियंत्रण में रखें
3. प्रोसेस्ड फूड और ज्यादा नमक का सेवन सीमित करें
4. धूम्रपान और शराब से दूरी बनाए रखें
5. पर्याप्त पानी पिएं, लेकिन जरूरत से ज्यादा नहीं
पैरों में सूजन, सुन्नपन, खुजली, थकान और मरोड़ — ये सब संकेत मामूली लग सकते हैं, लेकिन ये किडनी की सेहत को लेकर गंभीर चेतावनी भी हो सकते हैं। अगर आप या आपके परिवार में किसी को ये लक्षण लगातार महसूस हो रहे हैं, तो जल्द से जल्द डॉक्टर से संपर्क करें। क्योंकि किडनी एक बार खराब हो जाए तो उसका इलाज कठिन और महंगा होता है, लेकिन समय पर चेत जाना आपकी सेहत और जीवन दोनों को बचा सकता है।