चीन ने ताइवान के पास दागीं 11 मिसाइलें , जापान में भी गिरी, दोनों देशों का तनाव चरम पर पहुंचा

चीनी जहाजों ने समुद्री मध्य रेखा को फिर से किया पार: ताइवान

ताइपे (एजेंसी)। ताईवान की रक्षा मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि कई चीनी जहाजों और विमानों ने दूसरे दिन भी ताइवान जलडमरूमध्य की मध्य रेखा को पार किया है। रक्षा मंत्रालय ने कहा कि मध्य रेखा ताइवान जलडमरूमध्य में चीनी मुख्य भूमि और ताइवान के बीच अनौपचारिक से बांटने वाली रेखा है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी शीर्ष डेमोक्रेट नैन्सी पेलोसी की ताइवान की विवादास्पद यात्रा के बाद चीन ने द्वीप के चारों ओर दूसरे दिन भी सैन्य अभ्यास शुरू किया है। सुश्री पेलोसी ने जापान में बोलते हुए शुक्रवार को कहा कि चीन की चेतावनियों के बीच उनकी ताइवान की यात्रा अपने निहित स्वार्थ से प्रेरित नहीं थी। उन्होंने यह भी संकल्प लिया कि अमेरिका चीन को ताइवान को अलग-थलग नहीं करने देगा। ताइवान ने गुरुवार को कहा कि चीन ने ताइवान के उत्तर-पूर्व और दक्षिण-पश्चिम तटों के आसपास 11 बैलिस्टिक मिसाइलें दागीं है। बीबीसी ने रिपोर्ट में यह बताया कि ताईवान ने कहा कि इस कदम ने द्वीप की संप्रभुता का उल्लंघन किया और घेराबंदी की जा रही है। अमेरिका और ताइवान दोनों ने हालांकि चीन पर ताइवान जलडमरूमध्य में यथास्थिति को बदलने की कोशिश करने का आरोप लगाया है। जबकि चीन ताइवान को अपना एक अलग प्रांत के रूप में देखता है जिसे चीन के साथ एकजुट होना चाहिए। अमेरिका ताइवान को राजनयिक रूप से मान्यता नहीं देता है लेकिन वह चीनी दावों से भी सहमत नहीं है। वहीं जापान ने भी कहा कि हमारे क्षेत्र में भी मिसाइल गिरी है।

नैन्सी पेलोसी की द्वीप की यात्रा से हुआ विवाद

त्साई इंग-वेन ने यह भी कहा कि ताइवान अपनी संप्रभुता और सुरक्षा की रक्षा के लिए दृढ़ संकल्पित है और द्वीप के अधिकारी आर्थिक स्थिरता बनाए रखने और सुरक्षित और मुक्त समुद्री मार्गों के साथ-साथ हवाई अड्डों के सामान्य संचालन को सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे।

इससे पहले दिन में चीन ने अमेरिकी संसद अध्यक्ष नैन्सी पेलोसी की द्वीप की यात्रा के जवाब में ताइवान के पास छह जल क्षेत्रों और हवाई क्षेत्र में बड़े पैमाने पर सैन्य अभ्यास शुरू किया। अभ्यास रविवार को दोपहर 12 बजे तक चलेगा। पेलोसी द्वारा बीजिंग की चेतावनियों को नजरअंदाज करने और एशिया दौरे के दौरान ताइपे जाने की अपनी योजना के साथ आगे बढ़ने के बाद इस सप्ताह चीन और द्वीप के बीच तनाव का बढ़ गया था। वह 14 वर्षों में ताइवान की यात्रा करने वाली सर्वोच्च रैंकिंग वाली अमेरिकी अधिकारी हैं। संयुक्त राज्य अमेरिका ताइवान की स्वतंत्रता को आधिकारिक रूप से मान्यता नहीं देता है।

क्या है मामला:

वन-चाइना पॉलिसी के तहत चीन ने कहा कि ताइवान चीन का ही हिस्सा है लेकिन ताइवान खुद को आजाद देश मानता है। ताइवान के पास खुद की सेना है, खुद का संविधान और अपनी अलग सरकार है। ताइवान के आस-पास चीन अपना जाल बिछा रहा है और हर हाल में कब्जा करना चाहता है लेकिन ताइवान हार मानने के लिए तैयार नहीं हैं। इधर, अमेका भी वन चाइना पॉलिसी को मानता है, लेकिन ताइवान पर चीन का कब्जा रोकना चाहता है। अमेरिकी राष्टÑपति ने 2 महीने पहले कहा था कि हम वन चाइना पॉलिसी पर राजी हुए लेकिन ताइवान को बल के प्रयोग से छीना जा सकता है।

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