राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण की दो दिवसीय ऑल इंडिया लीगल सर्विसेज मीट का शुभारंभ

-देश के 15 सुप्रीम कोर्ट न्यायाधीश, 22 हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश और 76 हाईकोर्ट न्यायाधीश हुए शामिल
-नालसा की ओर से तैयार ई-पोर्टल और एप का किया लोकर्पण
‘जेलों के हालात सुधारने के लिए केंद्र सरकार कर रही काम, इस ओर न्यायाधीशों को भी सोचना चाहिए’

जयपुर (सच कहूँ न्यूज)। जयपुर में शनिवार से राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण की दो दिवसीय ऑल इंडिया लीगल सर्विसेज मीट का शुभारंभ हुआ। जयपुर के सीतापुरा स्थित जेईसीसी में आयोजित ऑल इंडिया लीगल सर्विसेज मीट का देश के प्रधान न्यायाधीश एनवी रमना, केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री किरन रिजिजू, राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यकारी अध्यक्ष यू यू ललित और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दीप प्रज्जवलन कर विधिवत उद्घाटन किया।

कार्यक्रम में देश के 15 सुप्रीम कोर्ट न्यायाधीश, 22 हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश और देशभर के 76 हाईकोर्ट न्यायाधीश इस सम्मेलन में भाग ले रहे है। आजादी के 100 वें साल में देश में विधिक सेवाओं की आवश्यकता और आमजन तक विधिक सेवाएं पहुंचाने की चुनौतियों के बारे में इस सम्मेलन में दो दिनों तक मंथन हो रहा है। सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में नालसा की ओर से तैयार विभिन्न ई-पोर्टल और एप का भी लोकर्पण किया गया।

देश की अदालतों में लंबित प्रकरण, सरकार के लिए बने चुनौती: किरन रिजिजू सम्मेलन में केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री किरन रिजिजू ने कहा कि आमजन को सुलभ न्याय दिलाने के लिए सम्मेलन में चर्चा होगी। देश की अदालतों में लंबित प्रकरण आज भी सरकार के लिए चुनौती बने हुए है। लंबित प्रकरणों का अंबार यू ही लगता रहा तो आने वाले समय में यह बड़ी चुनौती होगी। उन्होंने कहा कि देश की जेलों के हालातों को देखना चाहिए। जेलों में क्षमता से ज्यादा बंदी है, जेलों के हालात सुधारने के लिए केंद्र सरकार काम कर रही है। इस दिशों में सुप्रीम कोर्ट के साथ ही हाईकोर्ट के न्यायाधीशों को भी सोचना चाहिए।

जेलों में बंद बंदियों की रिहाई करने के लिए मसौदा तैयार

मंत्री किरन रिजिजू ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव के तहत देश की जेलों में बंद विभिन्न श्रेणियों के बंदियों की रिहाई करने के लिए मसौदा तैयार किया गया है। सुप्रीम कोर्ट में वकीलों की मोटी फीस का मुद्दा उठाते हुए रिजिजू ने कहा कि इस बारे में कुछ काम करने की जरूरत है, जिससे हर तबके के व्यक्ति को न्याय मिल सके। वहीं सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना ने कहा कि नालसा की ओर से बेहतर काम किया जा रहा है। आगामी 25 वर्षों की चुनौतियों के आधार पर इस सम्मेलन में चर्चा कर आमजन को विधिक जागरूक करने और न्याय दिलाने का प्रयास किया जाएगा।

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