Putin on US sanctions: नई दिल्ली। अमेरिका ने रूस की दो प्रमुख तेल कंपनियों पर नए आर्थिक प्रतिबंध लगाए हैं, जिससे दोनों देशों के बीच पहले से तनावपूर्ण संबंधों में एक बार फिर खटास आ गई है। यह निर्णय ऐसे समय पर लिया गया है जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की संभावित मुलाकात को लेकर चर्चाएं चल रही थीं। हालांकि, अब यह बैठक स्थगित कर दी गई है। Vladimir Putin News
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने इन प्रतिबंधों पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि इसका रूसी अर्थव्यवस्था पर कोई बड़ा असर नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहा कि यह कदम रूस पर दबाव बनाने का प्रयास मात्र है। पुतिन ने कहा, “कोई भी देश, जो अपनी स्वतंत्र नीतियों पर चलता है, बाहरी दबाव के आगे नहीं झुकता। इन प्रतिबंधों के कुछ परिणाम अवश्य होंगे, लेकिन ये हमारी आर्थिक स्थिरता को नहीं हिला सकते।”
उन्होंने आगे कहा कि अमेरिका की यह कार्रवाई किसी भी रूप में “मित्रवत कदम” नहीं कही जा सकती, बल्कि यह दोनों देशों के संबंधों को और कठिन बना देगी। पुतिन ने कहा कि रूस और अमेरिका के बीच संवाद धीरे-धीरे पुनः स्थापित हो रहा था, परंतु ऐसे निर्णय उस प्रक्रिया में बाधा उत्पन्न करते हैं।
रूसी राष्ट्रपति ने यह भी बताया कि उन्होंने ट्रंप को पहले ही चेतावनी दी थी कि प्रतिबंधों का प्रभाव केवल रूस पर ही नहीं, बल्कि वैश्विक तेल बाजार पर भी पड़ेगा। उनके अनुसार, ऐसे कदम अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा कीमतों में अस्थिरता पैदा कर सकते हैं। Vladimir Putin News
ट्रंप के कार्यकाल में रूस पर यह पहला प्रमुख प्रतिबंध
गौरतलब है कि अमेरिका ने रूस की दो बड़ी तेल कंपनियों — रोसनेफ्ट और लुकोइल — पर प्रतिबंध लगाए हैं। ट्रंप के कार्यकाल में रूस पर यह पहला प्रमुख प्रतिबंध माना जा रहा है। अमेरिका का कहना है कि ये प्रतिबंध यूक्रेन संघर्ष को समाप्त करने के लिए दबाव बनाने के उद्देश्य से लगाए गए हैं।
इस बीच, रद्द हुई शिखर बैठक को लेकर पुतिन ने कहा कि वार्ता और संवाद किसी भी टकराव या विवाद से बेहतर विकल्प हैं। उन्होंने कहा, “हम हमेशा बातचीत का समर्थन करते हैं। संवाद से समस्याओं का समाधान निकल सकता है, लेकिन इसे टालना उचित नहीं है।”
पुतिन ने यह भी जोड़ा कि यह बैठक अमेरिकी पक्ष की पहल पर तय की गई थी, परंतु अब वाशिंगटन ने इसे स्थगित करने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि यदि यह बैठक होती, तो दोनों देशों के बीच आपसी समझ बढ़ाने का अवसर मिलता।इस घटनाक्रम के बाद अंतरराष्ट्रीय विशेषज्ञों का मानना है कि अमेरिका और रूस के बीच कूटनीतिक तनाव एक बार फिर चरम पर पहुंच सकता है, जिससे ऊर्जा बाज़ार और वैश्विक राजनीति पर दूरगामी असर पड़ने की संभावना है। Vladimir Putin News















