
उद्योग-हितैषी नीतियों पर जोर, निवेशकों को मिलेगा तीन दिन में मंजूरी का लाभ
- मार्च 2022 से अब तक 1.14 लाख करोड़ के निवेश प्रस्ताव आए, 4.5 लाख से अधिक रोजगार सृजित
चंडीगढ़ (सच कहूँ न्यूज)। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान (Bhagwant Mann) और आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को राज्य में औद्योगिक क्रांति लाने के उद्देश्य से 24 क्षेत्रवार औद्योगिक सलाहकार समितियों का गठन किया। केजरीवाल ने इसे पंजाब के लिए ऐतिहासिक दिन बताते हुए कहा कि 2022 से पहले जबरन वसूली का दौर था, जिससे उद्योग राज्य छोड़कर चले गए और नशे जैसी समस्याएं बढ़ीं। उन्होंने ‘फास्ट ट्रैक पंजाब पोर्टल’ को भारत का सबसे आधुनिक सिंगल-विंडो क्लियरेंस सिस्टम बताते हुए कहा कि यह 150 से अधिक व्यावसायिक सेवाएं प्रदान करता है और आॅफलाइन आवेदन की आवश्यकता को समाप्त करता है। Chandigarh News
निवेश को मिलेगी त्वरित मंजूरी
केजरीवाल ने बताया कि पंजाब राइट टू बिजनेस एक्ट के तहत 125 करोड़ रुपये तक के निवेश प्रस्तावों को सिर्फ तीन दिन में सैद्धांतिक मंजूरी मिल जाती है। राज्य सरकार ने कई सुधार लागू किए हैं, जिनमें स्टाम्प पेपरों की कलर-कोडिंग, 45 दिन की मंजूरी समय-सीमा और समय-सीमा पूरी न होने पर डीम्ड अप्रूवल सिस्टम शामिल है। उन्होंने कहा कि सरकार-उद्योग बैठकों के माध्यम से नीतियों के निर्माण में उद्योग जगत की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित की गई है।
पंजाब बना निवेशकों की पहली पसंद | Chandigarh News
सीएम मान ने बताया कि इन 24 समितियों का विचार सितंबर 2023 में हुई सरकार-उद्योग बातचीत से आया। इनमें उद्योगपति भी सदस्य हैं, जो हर क्षेत्र के लिए विस्तृत रणनीतियां तैयार करेंगे। उन्होंने कहा कि पंजाब पहले से ही खाद्य प्रसंस्करण, वस्त्र, आॅटो कंपोनेंट, हैंड टूल्स, साइकिल निर्माण, आईटी और पर्यटन जैसे क्षेत्रों में अग्रणी है। मार्च 2022 से अब तक 1.14 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव मिले हैं, जिनसे 4.5 लाख से अधिक रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं। जापान, अमेरिका, जर्मनी, ब्रिटेन, दुबई, दक्षिण कोरिया, सिंगापुर और स्पेन जैसे देश पंजाब में निवेश में गहरी रुचि दिखा रहे हैं।
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