राष्ट्रीय डिजाइन चैंपियनशिप में सिल्वरलाइन प्रेस्टीज स्कूल के छात्रों ने बाजी मारी

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  •  प्रौद्योगिकियों के साथ भविष्य के लिए तैयार होने का समय:नमन जैन
  • राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र का पहला गूगल सर्टिफाइड स्कूल बना सिल्वर लाइन प्रेस्टीज स्कूल

गाजियाबाद (सच कहूँ/रविन्द्र सिंह)। भारतीय शिक्षा प्रणाली K-12 को भारत की स्टार्टअप क्रांति का केंद्र बनाने के लिए तेजी से कमर कस रही है और भविष्य के लिए इंडस्ट्री रेडी युवाओं को प्रशिक्षित कर रही है। देश की भावी प्रतिभा पीड़ी के लिए सफलता के नए मील के पत्थर स्थापित करने के अपने प्रयास में, गाजियाबाद के नंबर -1 प्रोग्रेसिव लर्निंग स्कूल, सिल्वरलाइन प्रेस्टीज स्कूल के छात्र प्रतिष्ठित राष्ट्रीय डिजाइन चैंपियनशिप के विभिन्न स्तरों पर शीर्ष पर रहे । देश भर के हजारों छात्रों ने नेशनल ग्राफिक डिजाइन चैंपियनशिप में अपनी रचनात्मक और डिजाइन कौशल का प्रदर्शन किया । और सिल्वर लाइन के नवोदित टेक्नोफाइल्स ने क्षेत्रीय और राष्ट्रीय स्तर पर पुरस्कार जीते। ग्राफिक डिजाइन में राष्ट्रीय स्तर पर सिल्वर लाइन प्रेस्टिज स्कूल के छात्र-छत्राओं ने विशेष उपलब्धि हासिल कर स्कूल का नाम रोशन किया।

इन छात्र-छात्राओं ने नेशनल ग्राफिक डिजाईन में लहराया परचम

ग्राफिक डिजाइन में राष्ट्रीय स्तर पर शानदार उपलब्धि हासिल करने वालों में कक्षा 6 की रीतिका श्रीवास्तव, माहिका रहेजा, शानवी त्यागी हैं। क्षेत्रीय स्तर पर मेधावी छात्र अंजलि गोगिया हैं जो कक्षा 7 से ऐप डेवलपमेंट, नमन बंसल 8 वीं कक्षा से 3 डी डिजाइन और गेम डिजाइन में कक्षा 6 से प्रिशा सिंह
चिकारा है ।

क्या बोले सिल्वर लाइन प्रेस्टिज स्कूल के डायरेक्टर

नमन जैन, डायरेक्टर (डेवलपमेन्ट), एसएलपीएस ने कहा, “प्रौद्योगिकी के अपने पंख फैलाने और दुनिया पर राज करने के साथ, यह छात्रों के लिए अपने कौशल को सुधारने और ‘ आने वाले कल के डिजाइन और प्रौद्योगिकियों’ के साथ भविष्य के लिए तैयार होने का समय है। हमें यह बताते हुए बेहद गर्व महसूस हो रहा है कि हमारे उज्ज्वल सिल्वरलाइनर्स ने भारत की सबसे बड़ी राष्ट्रीय डिजाइन चैंपियनशिप में भाग लिया और स्कूल का नाम रोशन किया । यह निस्संदेह देश की सबसे उत्कृष्ट पहलों में से एक है, जो युवा दिमाग को लीक से हटकर सोचने और 21वीं सदी के उपकरणों और प्रौद्योगिकियों का लाभ उठाने में कुशल बनने के लिए प्रोत्साहित करती है।

एक समग्र शिक्षण पारिस्थितिकी तंत्र बनाने के अपने प्रयास में, सिल्वर लाइन प्रेस्टीज स्कूल शिक्षा में नवाचार के लिए प्रौद्योगिकी का तेजी से उपयोग कर रहा है। विद्यार्थियो को भविष्य के नए व्यवसायों और इंडस्ट्रीज के लिए तैयार करने के लिए नई-नई तकनीक प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। महामारी के दौरान सीखने के लिए तकनीकी एकीकरण प्राप्त करने में स्कूलों द्वारा निभाई गई भूमिका के संदर्भ में सिल्वरलाइन प्रेस्टीज स्कूल हाल ही में राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र का पहला गूगल सर्टिफाइड स्कूल बना । सिल्वरलाइन प्रेस्टीज स्कूल लाइफ स्किल्स, अकादमिक कौशल, एंप्लॉयबिलिटी स्किल्स और एंटरप्रेन्योरियल स्किल्स पर फोकस के साथ 21वीं सदी के स्किल्स को भी पुनर्परिभाषित कर रहा है।

सिल्वर लाइन प्रेस्टीज स्कूल के बारे में जाने

1987 में स्थापित, सिल्वरलाइन प्रेस्टीज स्कूल, गाजियाबाद के प्रमुख संस्थानों में से एक है ।जो कौशल आधारित शिक्षा और प्रगतिशील शिक्षा को बढ़ावा देता है। 20 से अधिक वर्षों के संतुष्टिदायक इतिहास के साथ प्रगतिशील और अनुभवात्मक शिक्षा की वंशावली को आगे बढ़ाते हुए, सिल्वर लाइन प्रेस्टीज स्कूल भविष्य की शिक्षा का प्रतीक बनने की दिशा में काम कर रहा है। सिल्वर लाइन प्रेस्टिज स्कूल भारत के अन्य स्कूलों को अंक-आधारित शिक्षण से आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करने की दिशा में भी प्रयत्नशील है । एसएलपीएस पारंपरिक मूल्यों पर बनाया गया है और यह सीखने के अंतरराष्ट्रीय मानकों से प्रेरित है।

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