‘‘मस्ताना पैसों का भूखा नहीं है, मस्ताना प्यार का भूखा है’’
जब लगी तरबूज की बोली
मोती राम जिन्हें पूजनीय शाह मस्ताना जी महाराज प्यार से प्रह्लाद कहकर पुकारते, वाल्मीकि चौक सरसा का रहने वाला पुराना सत्संगी कविराज है। उसकी इच्छा थी कि हमारे इलाके के लोग शराब एवं मांस आदि का सेवन करते हैं यह सब बुराईयां दूर होन...
हमारे सौरमंडल का सबसे गर्म ग्रह है ‘शुक्र’
हमारा सौरमंडल का सबसे गर्म ग्रह शुक्र है ज्यादातर लोग हमेशा सोचते हैं कि सबसे गर्म ग्रह बुद्ध होगा क्योंकि यह सूर्य के ज्यादा नजदीक है जबकि ऐसा नहीं है। शुक्र के वायुमंडल में कई प्रकार की गैसें पाई जाती हैं जो कि ‘ग्रीन हाउस इफेक्ट’ का कारण बनती हैं अत: शुक्र अधिक गर्म है।
हिरण को पकड़ने के लिए शिकारी पहनते हैं विशेष जैकेट
हिरण एक जंगली जानवर है जो कि सर्वाइडे परिवार का है। हिरन की लगभग 50 प्रजातियां हैं जैसे कि हिरन, लाल हिरण, एल्क, सफेद पूंछ वाले हिरण, और मूस। हिरण मूल रूप से एशिया, उत्तरी अमेरिका, उत्तरी अफ्रीका, यूरोप और दक्षिण अमेरिका जैसे महाद्वीपों में पाए जाते ...
ले चलते हैं आपको रंग-बिरंगे तोतों की दुनिया में…
तोते को कौन नहीं जानता है। ये छोटे बच्चों को बहुत पसंद होता है। जो एक घरेलू पक्षी है। यह छोटे आकार का हरा और लंबी व पतली पूँछ वाला होता है। यह एक बहुत सुंदर पक्षी है। यह हरे रंग का 10-12 इंच लंबा पक्षी है, जिसके गले पर लाल कंठ होता है। इसकी आवाज छोटे...
सतगुरू जी ने शिष्य की सच्ची अर्ज स्वीकार की
बहन ईशर कौर सुचान (सरसा) से पूजनीय शहनशाह शाह मस्ताना जी महाराज की अपार रहमत का वर्णन करती हुई बताती हैं कि सन् 1958 की बात है। मेरे ससुराल वालों ने अपनी सारी जमीन जो गांव सुचान (सरसा) के एरिया में पड़ती थी, को बेचकर यूपी (उत्तर प्रदेश) में खरीदने का ...
दुनिया की सबसे बड़ी बिल्ली है ‘ओमार’
विश्व में कुछ ऐसी बिल्लियां है जो 32 फीट ऊँची इमारत से नीचे कंक्रीट पर गिर कर भी बच चुकी है। बिल्लियों के समूह को क्लैडर कहा जाता है। इनमें 20 से अधिक मांसपेशियां होती हैं जो उनके कानों को नियंत्रित करती हैं। वे अपने जीवन का 70% समय सोने में बिताती ह...
जब ड्राईवर ने दिया आइंस्टीन की जगह भाषण…
अल्बर्ट आइंस्टीन, दुनिया का शायद ही ऐसा कोई पढ़ा-लिखा शख्स होगा जो इस नाम को ना जानता हो। उनमें एक खास बात ये थी कि वो जिस काम को करते थे, पूरी लगन से करते थे। और काम को अंजाम तक पहुंचाकर ही सांस लेते थे। यही कारण बना की अल्बर्ट आइंस्टीन दुनिया के महा...
भारतीय लोकतंत्र के नायक थे चाचा नेहरू
14 नवंबर की तारीख को भारत के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के जन्मदिन के तौर पर याद किया जाता है। आज के दिन 1889 को इलाहाबाद में जन्मे पंडित जवाहरलाल नेहरू ने शायद ही कभी ये सोचा होगा कि एक दिन भारत में उनके नाम और काम पर आलोचनात्मक बहस होगी। यह स...
जिस किडनी में पहले खून की तीन गांठें थी, उनकी जगह बन गए पावन स्वरूप
सतगुर की रहमत से बीमारी से मिली मुक्ति
सन् 2020 की बात है, मेरे पेट में बहुत दर्द हुआ। जब गांव के डाक्टरों से आराम नहीं मिला तो शाह सतनाम जी सार्वजनिक अस्पताल श्री गुरूसर मोडिया में चैकअप करवाया। अल्ट्रासाउंंड के बाद डाक्टरों ने बताया कि लैफ्ट किडनी...
सच्चे सतगुुरू जी ने की भक्त की संभाल
उत्तर प्रदेश के एक गांव गेजा से श्री मामराज ने जब पूजनीय शाह मस्ताना जी महाराज से नाम लिया तो उसका जीवन ही बदल गया। सतगुरू जी की याद और दर्शन पाने की तड़प उसे हर समय रहती थी। वह सभी मासिक सत्संगों पर डेरा सच्चा सौदा, सरसा पहुंचने को तैयार रहता। कई बार...
पूज्य सतगुरू जी के वचनों ने बदली शिष्य की तकदीर
प्रमुख दास गांव खजूरी (फतेहाबाद) में रहता था। उसका पहला नाम राम गोपाल शर्मा था। सन् 1952 में परम पूजनीय बेपरवाह शाह मस्ताना जी महाराज ने पहली बार जब महमदपुर रोही में सत्संग फरमाया था तो गांव में सबसे पहले राम गोपाल ने नाम-दान प्राप्त किया था। पूज्य श...
क्रांतिकारी गंगू मेहतर से अंग्रेज क्यों खौफ खाते थे?
गंगू मेहतर विट्ठुर के शासक नाना साहब पेशवा की सेना में नगाड़ा बजाते थे। गंगू मेहतर को कई नामों से पुकारा जाता है। गंगू मेहतर को पहलवानी का भी शौक था। जिसकी वजह से उन्हें गंगू पहलवान के नाम से भी पुकारा जाता था। सती चौरा गांव में इनका पहलवानी का अखाड़ा ...
साईं जी ने जात-पात का भेद मिटाया
एक बार आप जी नोहर से लालपुरा की तरफ जीप में सवार होकर जा रहे थे। उन दिनों वह रास्ता कच्चा था। रोड़ के आसपास बड़े-बड़े टीले थे। रास्ते में आपजी ने जीप को रूकवाया व पानी पीने की इच्छा जताई। वैसे तो सेवादार हर समय पानी अपने साथ रखते थे। लेकिन उस समय उनके प...
Stone River: ऐसी नदी जिसमें पानी नहीं सिर्फ पत्थर ही पत्थर! वैज्ञानिकों के लिए बनी पहेली
अनोखी स्टोन रिवर की ये है अजब कहानी, जानिए कहां बहती है
Stone River:नदी! नाम सुनते ही ख्यालों में आने लगता है, जैसे पानी ही पानी तेज बहाव में एक ओर बहता जा रहा है और खासकर होता भी ऐसा ही है। नदियों में तो सिर्फ और सिर्फ पानी ही बहता है। यूं तो नदी म...
कर्म और भक्ति
एक जिज्ञासु संत तुकाराम की खोज में निकल पड़ा। पूछते-पूछते वह संत तुकाराम के पास पहुँचा। उसने देखा तुकाराम एक दुकान में बैठे कारोबार में व्यस्त हैं। वह दिन भर उससे बात करने की प्रतीक्षा करता रहा और तुकाराम सामान तोल-तोल कर बेचता रहे। दिन ढला तो वह बोला...