सैकड़ों क्विंटल तूड़ी भरकर सड़कों पर सरपट दौड़ाते हैं ट्रैक्टर-ट्रालियां
सच कहूँ/राजू, ओढां। अगर कोई बाइक सवार बिना हेल्मेट या कोई गाड़ी सवार बिना सीट बेल्ट के नजर आता है तो पुलिस उसका यह कहकर चालान कर देती है कि यातायात नियमों का पालन नहीं किया गया। लेकिन इसे क्या कहें यहां तो यातायात नियमों की न केवल सरेआम धज्जियां उड़ाई जा रही बल्कि सड़कों पर हादसों को खुला निमंत्रण देकर लोगों की जिंदगी दांव पर लगाई जा रही है। लेकिन प्रशासन इस तरफ कोई ध्यान नहीं दे रहा। जी हां, इन दिनों तूड़ी से ऑवरलोडिड ट्रैक्टर-ट्रालियां (Tractor-Trolleys) सरेआम सड़कों पर दौड़ती देखी जा रही हैं।
ये ट्रैक्टर-ट्रालियां जहां यातायात नियमों की सरेआम धज्जियां उड़ा रही हैं बल्कि दुर्घटनाओं का कारण बन रही हैं। इन ट्रैक्टर-ट्रालियों में ट्रक से भी अधिक असीमित तूड़ी भरी जाती है। जब वे ट्रैक्टर-ट्रालियां लोकल मार्गों से गुजरती हैं तो अन्य वाहनों को साइड भी नहीं मिल पाती। वहीं ऐसे वाहन जब बीच सड़क के पलटते हैं तो अन्य वाहनोंं के लिए हादसे का सबब बन जाते हैं। तो वहीं पूरा दिन यातायात बाधित रहता है।
इसके अलावा इन ट्रैक्टर-ट्रालियों (Tractor-Trolleys) के चालकों को पीछे से आ रहे वाहन भी दिखाई नहीं पड़ते जिसके चलते दुर्घटना का खतरा बना रहता है। सोमवार को राष्ट्रीय राजमार्ग नंबर 9 पर डबवाली के निकट तूड़ी से भरी ट्रैक्टर-ट्राली बीच हाईवे पलट गई। जिसके चलते हाईवे की एक साइड कई घंटों तक बाधित रही। हैरानीजनक बात तो ये है कि न तो यातायात विभाग इन पर लगाम कसता है और न ही पुलिस प्रशासन। जिसके चलते लोगों की जिंदगियां दांव पर लग रही हैं।
‘‘ऐेसे वाहनों के खिलाफ यातायात व आरटीओ विभाग कार्रवाई करते हैं। हमने कुछ ट्रैक्टर-ट्रालियों को इंपाउंड भी किया है। दूसरा ये कि गौशालाओं में तूड़ी जाने के कारण गौशाला पदाधिकारियों की रिक्वेस्ट मानकर इन ट्रैक्टर-ट्रालियों पर थोड़ी नरमी बरती जा रही है। लेकिन गौशाला से अलावा जो सरसों की या अन्य तूड़ी ईंट भट्ठों या अन्य जगह जा रही है ऐसे वाहनों पर हम कार्रवाई कर रहे हैं। यातायात नियमों की अवेहलना किसी को नहीं करने दी जाएगी। ऐसी ट्रैक्टर-ट्रालियों को इंपाउंड किया जा रहा है।
बहादुर सिंह, निरीक्षक (जिला यातायात प्रभारी)।
अन्य अपडेट हासिल करने के लिए हमें Facebook और Twitter, Instagram, LinkedIn , YouTube पर फॉलो करें।