किसानों की लौटी मुस्कान, सच कहूँ का जताया आभार

Canal Cleaning

खारियां(सच कहूँ/सुनील कुमार)। जिले के राजस्थान सीमां से लगते आठ गावों के किसानों के चहरों पर उस समय मुस्कान लौट आई जब सिंचाई विभाग द्वारा मम्मड़ ब्रांच व नथौर माईनर पर मजदूरों द्वारा सफाई का कार्य शुरू किया गया। समरणीय है कि जिला के खंड रानियां व डबवाली के करीब आधा दर्जन गावों के किसानों के खेत मम्मड़ ब्रांच व नथौर माईनर के अन्तर्गत आते है। जिसमें अगस्त महीने के अन्तिम सप्ताह में 15 दिनों तक चले भाखड़ा का पानी टेल तक न पहुंचने पर गांव केहरवाला, दारेवाला, मम्मड़ खेड़ा, कालुआना, नथौर, सेनपाल, सेनपाल कोठा व मतुवाला के किसानों ने सिंचाई विभाग के प्रति अपनी नाराजगी जताई थी।

इस संबंध में इन गावों के किसानों ने जिला उपायुक्त को नहर की सफाई न पर ज्ञापन सौंप कर नहरों की सफाई न होने से पानी टेल तक न पहुंचने की समस्या के समाधान की गुहार लगाई थी। जिसको 1 सितम्बर के अंक में राष्ट्रीय दैनिक सच कहूँ समाचार पत्र ने किसानों की इस समस्या को प्रमुख्ता से प्रकाशित किया था। सच कहूँ में हुए प्रकाशन से संबंधित विभाग इस समस्या को गंभीरता से लेते हुए मम्मड़ ब्रांच व नथौर माईनर की सफाई का कार्य तुरंत शुरू करवा दिया। जिसे देखकर इन गावों के किसानों ने दैनिक सच कहूँ का आभार व्यक्त किया।

ग्रामीण बोले, सफाई न होने से पानी टेल तक नहीं पहुंच रहा था

सुभाष झोरड़ सरपंच प्रतिनिधि नथौर, बलवंत नम्बदार, मोहन लाल सिद्धु, अमीलाल सिद्धु, बलदेव बेनिवाल, राम सिंह, राजीव बेनिवाल, शेर सिंह, दिलराज भुल्लर, जगदीश, कमलेश जाखड़, दयाला राम, रामस्वरूप, अनिल कालड़ा, गुरविन्द्र भंगू व सतीश झोरड़ ने बताया कि कहा कि पीछे नहर की सफाई न होने से पानी टेल तक नहीं पहुंचा, जिससे गावों में पीने के पानी की गंभीर समस्या पैदा हो गई और किसानों की नरमा व कपास की फसलों को काफी नुकसान हुआ था, लेकिन नहरों की सफाई के बाद ये उम्मीद बंधी है कि किसानों को फसलों के लिए प्रयाप्त पानी उपलब्ध हो या ना हो, परन्तु सभी गावों में ग्रामिणों व पशुओं को पीने के लिए पानी अवश्य पहुंच जाएगा। उन्होंने ये भी कहा कि खेती के लिए प्रयाप्त पानी की हमारी लड़ाई यहीं खत्म न होकर आगे भी जारी रहेगी।

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