Himachal Pradesh: 26 सेकेंड में ताश के पत्तों की तरह ढह गई इमारतें, देखें तबाही का वीडियो..

Himachal Pradesh
Himachal Pradesh: 26 सेकेंड में ताश के पत्तों की तरह ढह गई इमारतें, देखें तबाही का वीडियो..

कुल्लू (सच कहूँ न्यूज)। Himachal Pradesh: हिमाचल प्रदेश पर कुदरत का कहर जारी है, जहां बारिश, बादल फटने और भूस्खलन के कारण हो रही भारी तबाही थमने का नाम नहीं ले रही है। राज्य में गत तीन दिनों से हो रही मूसलाधार बारिश के कारण कुल्लू शहर के आनि बस अड्डे के निकट बुधवार सुबह जमीन धंसने और भारी भूस्खलन के कारण अनेक घर और ऊंची इमारतें ताश के पत्तों की तरह नीचे आ गईं। आसपास की और कई इमारतों के भी ढहने का खतरा बना हुआ है।

अभी तक हालांकि किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं है लेकिन वहां रह रहे लोगों के मलबे में फंसे होने की आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता है। सोशल मीडिया पर भूस्खलन का एक वीडियो भी सामने आया है , जिसमें पहाड़ के दरकने से घर और ऊंची इमारतें मात्र कुछ सेकेंड में भरभरा कर गिरती दिखाई दीं। Himachal Pradesh

कैसे हुआ हादसा

कुल्लू जिला प्रशासन और पुलिस के अधिकारी घटना की सूचना मिलते ही मौके पर पहुंचे। बताया जा रहा है कि इस इलाके में कुछ इमारतें निमार्णाधीन थीं तथा कुछ में दुकानें, शोरूम और बैंक तथा अन्य कार्यालय थे। इनमें कुछ समय से दरारें आ रही थीं। पिछले प्रशासन ने खतरे को भांपते हुये हालांकि कुछ इमारतों को एहतियातन खाली करा लिया था। राहत एवं बचाव कार्य शुरू कर दिया गया है। Himachal Pradesh

मौसम विज्ञान विभाग राज्य में अगले दो दिनों में भारी बारिश की चेतावनी देते हुए रेड अलर्ट जारी किया है। राज्य में गत बुधवार को वर्षाजनित घटनाओं में लगभग 13 लोगों की मौत हो गई थी तथा छह अन्य लापता हैं। अब तक बारिश,बाढ़, भूस्खलन और बादल फटने की घटनाओं में 2200 से ज्यादा घर तबाह हो चुके हैं और लगभग 10 हजार मकानों को आंशिक नुकसान या इनमें दरारें आई हैं। इससे जहां अनेक परिवार बेघर हो चुके हैं वहीं कुछ जान जोखिमें में डाल कर क्षतिग्रस्त घरों में रह रहे हैं। Himachal Pradesh

राज्य आपदा प्रबंधन विभाग के अनुसार राज्य में 300 से अधिक दुकानें, 4783 गोशालायें बर्बाद हो गई हैं। तीन राष्ट्रीय राजमार्ग, 700 से अधिक सड़कें बंद हैं। लोक निर्माण विभाग के शिमला क्षेत्र सबसे ज्यादा 220, मंडी क्षेत्र में 213, हमीरपुर में 180, कांगड़ा 93 सड़कों पर आवागमन ठप है। 2897 ट्रांसफार्मरों के खराब होने से राज्य के गांवों और शहरों में बिजली गुल रहने से अंधेरा छाया हुआ है।

अकेले मंडी जिले में 1142 ट्रांसफार्मरों के ठप हैं। राज्य में अब तक लगभग साढ़े आठ हजार करोड़ रुपये नुकसान का आकलन किया गया है, जो यह 10 हजार करोड़ रुपये तक पहुंच सकता है। मौसम विभाग के अनुसार बुधवार को बिलासपुर के काहू और मंडी के कोटला में सबसे ज्यादा 210-210 मिलीमीटर बारिश हुई। इसके अलावा बिलासपुर सदर, बरठी और पंडोह में 180-180 मिमी, कंडाघाट 160, बंगाणा और कसौली 150-150, बलद्वारा 140, शिमला और नैना देवी 130-130 मिमी बारिश रिकार्ड की गई।