एफआईआर दर्ज, लेकिन शेष मांगों पर अभी तक नहीं बनी सहमति
हनुमानगढ़। (सच कहूँ न्यूज) जयपुर के न्यायिक कर्मचारी सुभाष मेहरा की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत के मामले को लेकर न्यायिक कर्मचारियों का कार्य बहिष्कार बुधवार को 15वें दिन भी जारी रहा। कोर्ट में लगातार कामकाज ठप होने से मुकदमों में सुनवाई नहीं हो पा रही है। साथ ही कोर्ट में आने वाले लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। जिला न्याय क्षेत्र में हर दिन सैकड़ों मुकदमे प्रभावित हो रहे हैं। वहीं पीडि़त और गवाह कोर्ट में आ रहे हैं, लेकिन यहां कामकाज ठप होने से उनको परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
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जेल में बंद बंदियों की रोजाना सुनवाई नहीं हो पा रही है। राजस्थान न्यायिक कर्मचारी संघ के रूपेश व्यास ने कहा कि 15 दिनों से आंदोलन चल रहा है। न्यायिक कर्मचारी की रहस्यमी मौत के मामले में एफआईआर दर्ज हो गई है, लेकिन अभी भी कुछ मांगें बाकी हैं। इन मांगों को लेकर प्रदेश नेतृत्व के अनुसार उनका सामूहिक अवकाश जारी है। जयपुर में राष्ट्रीय कार्यकारिणी की ओर से 22 जिलाध्यक्षों की मौजूदगी में दो-तीन दिन से वार्ता का दौर चल रहा है। संभावना है कि जल्द मांगों पर सहमति बनने पर आंदोलन समाप्त होगा।
जब तक कार्यकारिणी का आदेश नहीं होगा तब तक कार्य बहिष्कार व धरना जारी रहेगा। बता दें कि जयपुर में सहायक कर्मचारी (न्यायिक कर्मचारी) सुभाष मेहरा की पीठासीन अधिकारी (न्यायाधीश) के निवास पर रहस्यमयी मौत हो गई थी। इसको लेकर एफआईआर दर्ज करवाने और सीबीआई से निष्पक्ष जांच कर दोषियों को सजा दिलाने की मांग को लेकर न्यायिक कर्मचारी सामूहिक अवकाश पर हैं। 30 नवंबर से प्रदेशभर के सभी कोर्ट में सामूहिक अवकाश का आंदोलन चल रहा है। हनुमानगढ़ जिले में भी न्यायिक कर्मी हड़ताल पर हैं और काम ठप पड़ा है। जिला मुख्यालय पर न्यायिक कर्मचारियों की ओर से जिला एवं सेशन न्यायालय परिसर के बाहर धरना दिया जा रहा है।
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