सच कहूँ/संदीप सिंहमार।हिसार। बंगाल की खाड़ी पर लगातार बन रहे कम दबाव क्षेत्र की वजह से देश के पूर्वी और मध्य भागों के साथ-साथ उत्तर भारत में भी मानसून की सक्रियता की सक्रियता बनी हुई है। नतीजन राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली एनसीआर के साथ-साथ उत्तरी पंजाब,हरियाणा,पश्चिमी राजस्थान सहित संपूर्ण उत्तर भारत में कहीं मध्यम तो कहीं तेज बारिश हो रही है। दिल्ली एनसीआर में मंगलवार को भी दो बार रुक रुक कर बरसात हुई। इसके अलावा मध्यप्रदेश के साथ लगते राजस्थान व गुजरात के तेज बारिश का दौर जारी है।
वहीं उतराखंड, हिमाचल प्रदेश, गोवा और असम में मध्यम व तेज बारिश हुई। भारत मौसम विभाग व निजी मौसम एजेंसी स्काईमेट के अनुसार अभी अगले 5 दिनों तक भी मौसम का मिजाज लगातार बदला हुआ नजर आएगा। उत्तर भारत में इस बदले मौसम का सबसे ज्यादा असर दिल्ली एनसीआर में ही देखने को मिलेगा। मौसम विभाग की माने दो लगातार एक सप्ताह तक दिल्ली-एनसीआर सहित संपूर्ण उत्तर भारत में कहीं बूंदाबांदी तो कहीं तेज बारिश की संभावना बनी रहेगी। इस मौसम का सबसे ज्यादा असर दिल्ली व एनसीआर में ही देखने को मिलने वाला है, जिनमे उत्तरप्रदेश, हरियाणा व राजस्थान के अलावा पंजाब शमिल है।
यह है मानसून सक्रियता की सबसे बड़ी वजह
भारत मौसम विभाग के अनुसार मॉनसून की टर्फ रेखा अब जैसलमेर,कोटा,गुना,सतना, जमशेदपुर से होते हुए दक्षिण पूर्वी बंगाल की खाड़ी को ओर जा रही है। वही एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र राजस्थान और आसपास के क्षेत्र पर बना हुआ है। पूर्वी राजस्थान पर बने चक्रवाती हवाओं के क्षेत्र से एक टर्फ रेखा गुजरात होते हुए पूर्वोत्तर अरब सागर तक जा रही है। एक कम दबाव का क्षेत्र तटीय उड़ीसा के उत्तरी भाग और आसपास के क्षेत्र पर बना हुआ है। इसी मौसमी सिस्टम के कारण लगातार मानसूनी बरसात जारी है,जो सितंबर माह के अंतिम सप्ताह तक जारी रहने की संभावना है।
हरियाणा के इन जिलों में छाए बादल
हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार मंगलवार को हरियाणा में हल्की,पंचकूला,कुरुक्षेत्र,करनाल,कैथल, सरसा, पानीपत, सोनीपत, हिसार, भिवानी, चरखी दादरी ,झज्जर ,मेवात व पलवल जिलों में जहां दिनभर बादल छाए रहे वहीं कहीं- कहीं हल्की से मध्यम स्तर की बारिश हुई।
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