‘‘मैनूं भजा दियो ते अल्ट्रासाउंड मशीन रक्ख लवो, मैं तुहानूं 10 लक्ख देआंगा’’

Ludhiana News

स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गुप्त सूचना के आधार पर लिंग जांच सैंटर का किया स्टिंग ऑपरेशन

  • गैर कानूनी लिंग जांच करने के आरोप में गिरफ्तार व्यक्ति ने सरकारी कर्मचारी को दी 10 लाख रूपये की रिश्वत की पेशकश, मामला दर्ज

लुधियाना। (सच कहूँँ/जसवीर सिंह गहल) जिले के गांव नीची मंगली में अनाधिकृत स्कैन सैंटर चलाने वाले गिरफ्तार व्यक्ति के विरुद्ध पुलिस ने (Ludhiana News) सरकारी कर्मचारियों को 10 लाख रूपये की रिश्वत देने के आरोप के तहत मामला दर्ज किया है। यह रिश्वत मामले को रफा-दफा करने के लिए दी जानी थी, जिसके संबंध में पुलिस ने जिला परिवार भलाई अधिकारी के बयानों पर मामला दर्ज किया है। जानकारी के अनुसार थाना फोकल प्वार्इंट के सहायक थानेदार मंगल दास ने बताया कि डॉ. हरप्रीत सिंह जिला परिवार भलाई अधिकारी कार्यालय सिविल सर्जन लुधियाना द्वारा दर्ज करवाए बयानों मुताबिक उनके द्वारा ड्यूटी दौरान सूचना के आधार पर जिले के गांव नीची मंगली में मनमोहन पाल के घर रेड की गई थी, जहां मनमोहन पाल द्वारा अनाधिकृत स्कैन सैंटर चलाकर लिंग जांच की जा रही थी।

डॉ. हरप्रीत सिंह मुताबक ज्यों ही उन्होंने छापेमारी कर मनमोहन पाल को लिंग जांच करते रंगों हाथों काबू किया तो सामने से आरोपी ने उनको (मनमोहन पाल) को भगाने के बदले 10 लाख रूपये रिश्वत देने की पेशकश की। इतना ही नहीं मनमोहन पाल ने अपने घर फोन कर 4.98 लाख रूपये मौके पर मंगवा भी लिए तो उसने मनमोहन पाल व दोनों महिलाओं सहित पुलिस के हवाले कर दिए। सहायक थानेदार मंगल दास ने बताया कि पुलिस ने डॉ. हरप्रीत सिंह जिला परिवार भलाई अधिकारी के बयानों पर मनमोहन पाल शर्मा पुत्र जगदीश सिंह निवासी जनकपुरी (लुधियाणा) के विरुद्ध भ्रष्टाचार एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया है।

उल्लेखनीय है कि पुलिस ने लिंग जांच करते मनमोहन पाल सहित महिला मनदीप कौर निवासी गांव नीची मंगली व ऋतु निवासी नजदीक पक्का दरवाजा गांव साहनेवाल को भी गिरफ्तार किया था, जिनके खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया है। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मौके पर ही अल्ट्रा साऊंड मशीन व कुल 30 हजार रुपये की नकदी भी बरामद की थी। पुलिस अनुसार मनमोहन पाल के खिलाफ पहला मामला 2017 में थाना टाऊन अधीन दर्ज हुआ था।

इस उपरांत दो सालों बाद थाना सदर पुलीस ने मनमोहन पाल के विरुद्ध 2019 में दूसरा मामला दर्ज किया। तीसरा मामला थाना डिवीजन नम्बर 6 में दर्ज किया गया, जिसमें वह 2022 में जमानत पर बाहर आया व उसने अल्ट्रा साऊंड का काम शुरू कर लिया। (Ludhiana News) बता दें कि स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गुप्त सूचना के आधार पर उक्त स्कैन सैंटर का स्टिंग आॅपरेशन के तहत पर्दाफाश किया था, जिसमें एक महिला को गर्भवती ग्राहक बनाकर भेजा गया व लिंग जांच करने के बदले 32 हजार रुपये देने की बात तय हुई, जिसके बाद गठित विशेष टीम ने रेड कर लिंग जांच करते एक व्यक्ति सहित दो महिलाओं को मौके पर ही दबोचा गया था।

अन्य अपडेट हासिल करने के लिए हमें Facebook और TwitterInstagramLinkedIn , YouTube  पर फॉलो करें।